हिमाचल के पहाड़ी इलाकों में मई महीने में भी ठंड का दौर जारी है। शनिवार सुबह चंबा के सचे जोत, रोहतांग समेत ऊंची चोटियों पर बर्फबारी और शिमला-कांगड़ा, कुल्लू, लाहौल जैसे कई क्षेत्रों में बारिश हुई। 16 मई तक हिमाचल के अधिकांश क्षेत्रों में हल्की बारिश का दौर जारी रहने का पूर्वानुमान है। 

इस बार हिमाचल में एक सप्ताह पहले ही 20 जून तक मानसून पहुंच सकता है। केरल से दक्षिण पश्चिम मानसून की रफ्तार सामान्य रही तो हिमाचल पहुंचने में बीते कुछ वर्षों का रिकॉर्ड टूटेगा। प्रदेश के इतिहास में सबसे पहले साल 2000 में नौ जून को मानसून पहुंचा था। साल 2024 में 27 और 2023 में 24 जून को मानसून ने प्रवेश किया। प्रदेश में मानसून के पहुंचने की सामान्य तारीख 22 जून मानी गई है। सबसे अधिक देरी से 5 जुलाई, 2010 को मानसून पहुंचा था।

देश में इस बार मानसून तय समय से चार दिन पहले दस्तक दे सकता है। मौसम विभाग ने कहा कि दक्षिण-पश्चिम मानसून के 27 मई को केरल पहुंचने की संभावना है। आमतौर पर केरल में मानसून एक जून को पहुंचता है। अनुमान जताया जा रहा है कि अच्छी बारिश होगी। मौसम विभाग के आंकड़े के अनुसार, यदि मानसून केरल में उम्मीद के अनुसार पहुंचता है तो यह 2009 के बाद भारतीय मुख्य भूमि पर मानसून का समय पूर्व आगमन होगा। उस समय मानसून ने 23 मई को दस्तक दी थी। भारतीय मुख्य भूमि पर मानसून के आगमन की आधिकारिक घोषणा तब की जाती है जब यह केरल पहुंचता है। दक्षिण-पश्चिम मानसून 8 जुलाई तक पूरे देश में छा जाता है। यह 17 सितंबर के आसपास उत्तर-पश्चिम भारत से पीछे हटना शुरू करता है और 15 अक्तूबर तक पूरी तरह से वापस हो जाता है।