नए शैक्षणिक सत्र से स्कूलों की समयसारिणी और छुट्टियों में बदलाव होगा। शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि सभी हितधारकों से चर्चा करने के बाद छात्रहित में फैसला लिया जाएगा। अगस्त में छुट्टियां नहीं होने और मानसून का प्रकोप अधिक होने से इस बाबत मंथन शुरू किया गया है। प्रदेश के सभी स्कूलों को खोलने और बंद करने के समय में एकरूपता लाने की भी तैयारी है।
राज्य सचिवालय में पत्रकारों से बातचीत में शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि स्कूलों की समयसारिणी और छुट्टियों को लेकर अभी चर्चा जारी है। सभी तथ्यों को देखा जाएगा। जो भी फैसला लिया जाएगा, उसे नए सत्र से लागू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि पहले अगस्त में ही बरसात की छुट्टियां होती थीं। कुछ वर्ष पूर्व छुट्टियों को जुलाई में कर दिया गया। अगस्त में मानसून पूरी तरह से सक्रिय होता है। स्कूलों को इस दौरान बंद करना पड़ता है। ऐसे में छुट्टियों के शेड्यूल में बदलाव करने को लेकर चर्चा की जा रही है।
शीतकालीन स्कूलों में स्कूल सुबह दस बजे खुलते हैं और शाम चार बजे छुट्टी होती है। ग्रीष्मकालीन स्कूल सुबह आठ बजे खुलते हैं और दोपहर दो बजे बंद होते हैं। शिक्षा विभाग ने प्रदेश के सभी स्कूलों की समयसारिणी को सुबह नौ से दोपहर तीन बजे तक करने के लिए जिला उपनिदेशकों से सुझाव मांगे हैं। सुझाव आने के बाद सरकार के समक्ष रिपोर्ट पेश की जाएगी। मानसून सीजन के दौरान शिक्षा विभाग को करीब 100 करोड़ का नुकसान हुआ है। क्षतिग्रस्त हुए स्कूलों के नजदीकी स्कूलों में विद्यार्थियों को शिफ्ट कर दिया है। इन स्कूलों मरम्मत के लिए जल्द ही फंड जारी किया जाएगा।
231 बीएड डिग्री धारकों की नौकरी जाना तय
शिक्षा मंत्री ने कहा कि जेबीटी भर्ती मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लागू किया जाएगा। कोर्ट के फैसले पर अध्ययन किया जा रहा है। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने जेबीटी भर्ती के लिए बीएड डिग्री धारकों को अपात्र बताया है। ऐसे में कोर्ट का फैसला लागू होने से जेबीटी के पदों पर नियुक्त 231 बीएड डिग्री धारकों की नौकरी जाना लगभग तय है।