मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने भोजनावकाश के बाद हिमाचल प्रदेश विधानसभा सदन में कहा कि पेपर लीक मामले सामने आने के बाद भंग किया गया। हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग तीन माह के भीतर हमीरपुर में ही नया स्थापित होगा और इसका नाम भी बदला जाएगा। इसके लिए सरकार ने दीपक सानन की अध्यक्षता में कमेटी बनाई है। यह कमेटी तीन माह में रिपोर्ट देगी कि चयन आयोग में कैसे नए कर्मचारी नियुक्त होंगे।
कर्मचारी चयन आयोग को लेकर सीएम ने कहा कि पिछले पांच साल में प्रदेश में पेपर लीक की कई घटनाएं हुईं। सरकार दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करेगी। आयोग में भर्ती प्रक्रिया में भ्रष्टाचार एवं अनियमितताओं पर हुई चर्चा का सीएम जवाब दे रहे थे। उन्होंने कहा, नए चयन आयोग का दफ्तर हमीरपुर जिला में ही होगा। आयोग में नए कर्मचारी नियुक्त होंगे। पुराने कर्मचारी अन्य विभागों में भेजे जाएंगे।
सुक्खू ने कहा कि जब तक नया चयन आयोग गठित नहीं होता, तब तक सरकार लोक सेवा आयोग के माध्यम से 3,000 नई भर्तियां करेगी। सीएम ने कहा कि पूर्व भाजपा सरकार ने पेपर लीक जैसी घटनाओं पर पर्दा डालने का प्रयास किया। पुलिस भर्ती का पेपर जब लीक हुआ तो पूर्व सरकार ने दोषियों को बचाने के लिए तुरंत दोबारा नई भर्ती करवाई।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार उन अभ्यर्थियों को राहत देगी, जिन्होंने कर्मचारी चयन आयोग की भर्तियों के लिए पेपर भरे थे और वह पेपर नहीं हो पाए। पिछले दो-तीन साल में पेपर न होने के कारण अब इन अभ्यर्थियों की उम्र ज्यादा हो चुकी है, ऐसे में सरकार इन्हें उसी तिथि से दोबारा पेपर भरने का मौका देगी, जिस तिथि से पहले आवेदन किया था।